👤29-03-2022-आगरा। उत्तर प्रदेश की राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने दयालबाग एजुकेशनल इंस्टीट्यूट द्वारा आयोजित महिलाओं की स्किलिंग प्रदर्शनी के उद्घाटन में कहा कि दयालबाग एजुकेशनल इंस्टीट्यूट, आगरा के तत्वावधान में आयोजित महिलाओं की स्किलिंग प्रदर्शनी का उद्घाटन करते हुए मुझे अपार प्रसन्नता का अनुभव हो रहा है। जैसा कि आप सभी लोग जानते ही हैं कि भारतीय संविधान में अनुच्छेद 14 से 16 के तहत पुरूषों एवं महिलाओं के लिए समान अधिकार निहित हैं। भारत की स्वतंत्रता के दौरान महिलाओं को सार्वभौमिक मताधिकार प्राप्त हुआ। महिला सशक्तिकरण देश की प्रगति के लिए आवश्यक है। महिला सशक्तीकरण का सीधा सा मतलब महिलाओं को आर्थिक रूप से ताकतवर बनाना है। महिलाएं शक्तिशाली बनती तो अपने जीवन से जुड़े हर फैसले स्वयं ले सकती हैं। महिलाएं आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर हों और देश के विकास में अपना योगदान दें। हमारे प्रधानमंत्री जी का भी मानना है कि हर महिला में दो उद्यमिता के गुण एवं मूल्य होते हैं। अगर वे आर्थिक रूप से स्वतंत्र होंगी तो वे नीति निर्माण में भी भागीदार बन सकेंगी। यह सच है कि इक्कीसवीं शताब्दी में हमारे देश की महिलाएं न केवल स्वावलम्बी बनकर आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ी हैं, बल्कि भावी संगठनों का निर्माण करते हुए सशक्त भी हुई हैं। अनेक महिलाओं ने सामाजिक नैतिकता की बाध्यताओं को पार करते हुए घर तथा कार्यस्थल पर स्वयं को सफल उद्यमी एवं कार्यकारी व्यावसायिकों के रूप में साबित किया है। नए उद्यमों को आरंभ करने एवं उनका सफलतापूर्वक संचालन करने वाली महिलाओं ने विपरीत परिस्थितियों में भी उपलब्धियां अर्जित की हैं। महिलाओं को शिक्षा देने और सामाजिक कुरीतियों को दूर करने के लिए जो आन्दोलन राजा राम मोहन राय ने शुरू किया था, उसके चलते समाज में एक नई ऊर्जा का संचार हुआ है, जिससे समाज में जागरूकता पैदा हुई। बाल विवाह और भ्रूण हत्या पर सरकार द्वारा रोक लगाने की दिशा में काफी प्रयास हुए हैं। शैक्षणिक गतिशीलता से पारिवारिक जीवन में भी परिवर्तन हुआ है।
उन्होंने कहा कि स्वतंत्रता के बाद लगभग 12 महिलाएं विभिन्न राज्यों की मुख्यमंत्री बन चुकी हैं। देश के अग्रणी सॉफ्टवेयर उद्योग में 21 प्रतिशत पेशेवर महिलाएं हैं। सेना, राजनीति, खेल, सैन्य, पायलट और उद्यम आदि क्षेत्रों में जहां पहले महिलाओं के होने की कल्पना भी नहीं की जा सकती थी, उन क्षेत्रों में आज महिलाओं ने अपना स्थान बनाया है। आज के अवसर पर मैं कहना चाहूंगी कि वर्तमान युग नारी शक्ति का युग है। हमें सफल महिलाओं से प्रेरणा लेते हुए हर महिला को आर्थिक स्वावलम्बन की चुनौती को स्वीकारना होगा। केन्द्र सरकार का भी दृष्टिकोण महिलाओं के नेतृत्व वाले सशक्तिकरण को सुनिश्चित करने में है। सरकार ने कामकाज के हर क्षेत्र में महिलाओं की गरिमा को महत्व दिया है। केन्द्र सरकार की बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ, प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना, महिला ई-हाट परियोजना ऑनलाइन विपणन अभियान जैसी अन्य कई महिला हितकारी फ्लैगशिप योजनाओं का उद्देश्य यह है कि महिलाओं को सशक्त और आत्मनिर्भर बनाया जाये। आज सबसे गरीब महिलाएं जो सुरक्षित स्वच्छता और स्वास्थ्य सुविधाओं की कमी की समस्याओं का सामना करती थी, उन्हें शौचालय, रसोई गैस आदि से अधिक सुरक्षित स्वस्थ और स्वच्छ वातावरण मिला है। हमारे प्रधानमंत्री के नारी सशक्तिकरण के प्रयास बहनों की उपलब्धियों में दिख रहे हैं। शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाएँ लघु और सूक्ष्म उद्योगों में उत्पादन कर रही हैं। केन्द्र सरकार के नीतिगत सरलीकरण से देश में महिला उद्यमियों की संख्या बढ़ी है। देश के एमएसएमई क्षेत्र में अब लगभग 80 लाख से अधिक महिला उद्यमी हैं और पिछले पांच वर्षों में पीएमईजीपी के तहत महिला उद्यमियों द्वारा अड़तीस प्रतिशत की वृद्धि के साथ उद्यमों की स्थापना हो रही है। आज पन्द्रह करोड़ से अधिक महिला उद्यमी मुद्रा योजना जैसी योजनाओं से आत्मनिर्भर हुई हैं। केंद्रीय मंत्रालय और सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम पच्चीस प्रतिशत खरीदारी एमएसएमई से कर रहे हैं। यह भी निर्देश दिया गया है कि चार प्रतिशत खरीदारी अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति उद्यमियों तथा तीन प्रतिशत खरीदारी महिला उद्यमियों से होनी चाहिए।
मा0 राज्यपाल ने कहा कि हम सभी को ग्रामीण क्षेत्रों में निवास कर रही महिलाओं को भी सशक्त बनाने पर अधिक से अधिक ध्यान देना होगा। जब ग्रामीण महिलायें और सशक्त होंगी तो हमारा देश और भी आगे बढ़ेगा। हमें महिलाओं को ऐसी स्थिति में पहुंचाने की कोशिश करनी चाहिए, जहां वे अपनी समस्याओं को अपने ढंग से खुद सुलझा सकें। हमारी भूमिका महिलाओं की जिन्दगी में उनका उद्धार करने वाले की न होकर उनका साथी बनने और सहयोगी की होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि मैं दयालबाग एजुकेशनल इंस्टीट्यूट के सभी महानुभाव का आभार व्यक्त करती हूँ कि उन्होंने मुझे इस प्रदर्शनी का अवलोकन करने का अवसर प्रदान किया। मैंने यहां महिलाओं द्वारा निर्मित विभिन्न वस्तुओं को देखा है, जो उनके कौशल का परिचय स्वयं दे रही है। दयालबाग एजुकेशनल इंस्टीट्यूट ने इन महिलाओं को मंच प्रदान कर उनके हुनर को आगे बढ़ाने का जो कार्य किया, मैं उसके लिये उसे बधाई देती हूँ। इसके साथ ही जिन महिलाओं ने अपने हुनर का यहां प्रदर्शन किया है, उन्हें आगे बढाने तथा अपने कौशल में और निखार लाने के लिये आशीर्वाद देती हूँ।
इसके पूर्व मा0 राज्यपाल महोदया ने आरबीएस कालेज में 101 आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों को बच्चों की आवश्यकता वाली वस्तुओं यथा- झूले वाले घोड, एबीसीडी चार्ट, फल, बाल, रिंग्स, प्ले बुक, एजुकेशनल मैप आदि की किट का वितरण किया तथा आंगनबाड़ी केन्द्र कौशलपुर-2 में महिलाओं की गोदभराई तथा बच्चों का अन्नप्राशन की रस्म अदा की।
इस अवसर पर केन्द्रीय विधि एवं न्याय राज्यमन्त्री, भारत सरकार, प्रो0 एस पी सिंह बघेल, मेयर नवीन जैन, आयुक्त अमित गुप्ता, जिलाधिकारी प्रभु एन सिंह, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक सुधीर कुमार एवं मुख्य विकास अधिकारी ए0 मनिकन्डन सहित अन्य सम्बन्धित अधिकारीगण उपस्थित थे।
विश्व प्रसिद्ध देवा मेला एवं प्रदर्शनी का हुआ भव्य उदघाटन
18-10-2024-
अभिनव ने लगाया श्वेता पर बेटे को होटल में अकेला छोड़कर केप टाउन जाने का आरोप
08-05-2021-
View Articleपॉपुलर रियलिटी शो खतरों के खिलाड़ी के 11वें सीजन में श्वेता तिवारी भी हिस्सा लेने वाली हैं जिसके लिए एक्ट्रेस...
पोखरे में मिली युवती की नग्न लाश, दुष्कर्म के बाद हत्या की आशंका
30-04-2021-गोरखपुर। खजनी क्षेत्र के ग्राम पंचायत मऊधरमंगल के सिगरा पोखरे में शुक्रवार को एक युवती की नग्न लाश दिखने...
View Articleरितिक रोशन और दीपिका पादुकोण की फाइटर होगी बॉलिवुड की सबसे महंगी फिल्म?
20-01-2021-रितिक रोशन के बर्थडे (10 जनवरी) पर उनकी अपकमिंग फिल्म च्फाइटरज् का 30 सेकंड का टीजर रिलीज किया गया। इस फिल्म को लेकर...
View Articleनोरा फतेही ने शेयर किया ग्लैमरस फोटोशूट का वीडियो, हुआ वायरल
03-01-2021-नई दिल्लीl फिल्म एक्ट्रेस नोरा फतेही ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर किया हैl यह उनके हालिया फोटोशूट का वीडियो...
View Article