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राम मंदिर निर्माण : 1 अप्रैल तक कोई भी चेक व ड्राफ्ट नहीं दे सकते दानदाता

राम मंदिर निर्माण : 1 अप्रैल तक कोई भी चेक व ड्राफ्ट नहीं दे सकते दानदाता594

👤27-03-2020-
रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट को अभी आयकर में छूट के लिए प्रमाण पत्र नहीं प्राप्त हो सका है। यही कारण है कि दानदाताओं को एक अप्रैल तक कोई भी चेक व ड्राफ्ट देने से रोक दिया गया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की ओर से ट्रस्ट को प्रदान किए गए 11 लाख के चेक को भी अभी बैंक में जमा नहीं किया गया है। रामजन्मभूमि ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने इसकी पुष्टि करते हुए बताया कि अभी ट्रस्ट के पास न्यूनतम व्यय है। ऐसे में जमा राशि इनकम टैक्स में बचत में शामिल ह़ो जाएगी और ट्रस्ट के साथ दानदाता का भी बड़ा नुकसान हो जाएगा।उन्होंने बताया कि उनके पास कई दानदाताओं की ओर से दिए गये चेक अभी भी बैंक में जमा नही कराए गए हैं। उन्होंने कहा कि आयकर विभाग की अपनी प्रक्रिया है। इस प्रक्रिया में समय लगता है। इसके कारण सभी दानदाताओं को अगले वित्तीय वर्ष तक किसी प्रकार की धनराशि जमा न कराने के लिए आग्रह किया गया है। उन्होंने बताया कि रामलला के चढ़ावे की धनराशि को बैंक खाते में जमा कराना मजबूरी है क्योंकि दानपात्र से निकालकर गिनती के बाद सम्पूर्ण धनराशि को अन्यत्र कहीं रखा नहीं जा सकता है। इसके चलते ट्रस्ट को अधिकार प्राप्त होने के बाद हुई गिनती की सम्पूर्ण धनराशि खाते में जमा करा दी गई है।रामलला का पूजन कराने आए आचार्य लॉकडाउन में फंसे
रामजन्मभूमि में विराजमान रामलला के स्थान परिवर्तन के लिए 23 मार्च को अनुष्ठान कराने विभिन्न स्थानों से अयोध्या आए आधा दर्जन आचार्य लॉकडाउन के कारण फंस गये हैं। उधर उनके परिजन छटपटा रहे हैं। इसके कारण आचार्यगण भी किसी प्रकार अपने घर जाना चाहते हैं। इनमें दिल्ली व हरिद्वार के अलावा प्रयाग के आचार्य शामिल हैं। लॉकडाउन के कारण ट्रेन, रोडवेज बस एवं निजी वाहनों के भी आवागमन पर रोक लगा दी गई है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आह्वान के बाद प्रदेश सरकार ने भी इस प्रकार से फंसे लोगों को कह दिया है कि जो भी लोग जहां हैं वहीं रहें और कोई मूवमेंट न करें। फिलहाल उनकी समस्या का निवारण कराने के लिए प्रशासनिक स्तर पर रास्ता तलाशा जा रहा है।सिर्फ 31 श्रद्धालुओं ने किया जन्मभूमि में रामलला का दर्शन
रामजन्मभूमि में विराजमान रामलला का दर्शन करने निकले दूसरे प्रांतों के श्रद्धालुओं को कड़ी हिदायत दी गयी है कि वह जहां भी ठहरे हैं, उसी स्थान पर रहें और बाहर घूमना-फिरना बंद करें अन्यथा उनके खिलाफ कार्यवाही की जाएगी। देश में लॉकडाउन से पहले यहां आए श्रद्धालु फंस गये हैं और अब उन्हें कुछ सूझ नही रहा है कि वह क्या करें। फिलहाल रामलला के यहां हाजिरी बजाने वाले श्रद्धालुओं का डी वन बैरियर पर पहले नाम-पता व मोबाइल नंबर दर्ज किया जा रहा है। इस पंजीकरण के लिहाज से प्रथम पाली में 27 पुरुष व चार महिलाओं ने माथा टेका।
🕔tanveer ahmad

27-03-2020-
रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट को अभी आयकर में छूट के लिए प्रमाण पत्र नहीं प्राप्त हो सका है। यही कारण है कि दानदाताओं को एक अप्रैल तक कोई भी चेक व ड्राफ्ट देने से रोक...

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कोरोना वायरस से गर्भवती महिलाओं को ज्यादा खतरा, बरतें सावधानी

कोरोना वायरस से गर्भवती महिलाओं को ज्यादा खतरा, बरतें सावधानी881

👤27-03-2020-
वैश्विक महामारी का रूप ले चुका कोरोना सबके लिए बड़ी चुनौती बना हुआ है। डब्ल्यूएचओ ने कोरोना के खतरे को देखते हुए गर्भवती महिलाओं या हाल में बच्चों को जन्म देने जा रही महिलाओं समेत नवजात बच्चों को सावधान रहने के लिए कहा है।  अगर आप इस समय गर्भवती हैं, तो आपके मन में भी कई सवाल उठ रहे होंगे। झलकारीबाई अस्पताल की स्त्रीरोग विशेषज्ञ डॉ. दीपा शर्मा ने गर्भवतियों के सवालों के जवाब दिए।प्रश्न: गर्भवती हूं, बुखार है पर कहीं मुझे कोरोना तो नहीं?
जवाब: अगर आप गर्भावस्था में कोरोना के संपर्क में आ गई हैं तो आपको तेज बुखार और लगातार खांसी आने लगेगी। हालांकि इस समय वायरल बुखार का भी प्रकोप अधिक है, जरूरी नहीं कि बुखार के लक्षण कोरोना ही हो।प्रश्न: मुझे वायरस हुआ तो गर्भस्थ शिशु पर इसका क्या असर होगा?
जवाब: अब तक इस बात का कोई प्रमाण नहीं मिल पाया है कि कोरोना वायरस से गर्भस्थ को भी अपनी मां से ये वायरस मिल सकता है। इसे वर्टिकल ट्रांसमिशन कहते हैं जो अब तक अप्रमाणित है।प्रश्न: नवजात शिशु है तो कैसे बरतें सावधानी?
जवाब: नवजात बच्चे को दूध पिलाने से पहले श्वसन संबंधी साफ-सफाई का अवश्य ध्यान रखें। मास्क जरूर पहनें।प्रश्न: मेरे बच्चे को कोरोना से खतरा तो नहीं? 
जवाब: बच्चों में अभी तक सिर्फ एक मामला सामने आया है, पांच साल से कम उम्र के बच्चों के तापमान का ध्यान रखें। उन्हें खाने में ठंडे पदार्थ न दें।
🕔tanveer ahmad

27-03-2020-
वैश्विक महामारी का रूप ले चुका कोरोना सबके लिए बड़ी चुनौती बना हुआ है। डब्ल्यूएचओ ने कोरोना के खतरे को देखते हुए गर्भवती महिलाओं या हाल में बच्चों को जन्म देने जा रही महिलाओं...

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कोरोना वायरस : 41% लोग नहीं कर रहे सोशल डिस्टेंसिंग का पालन

कोरोना वायरस : 41% लोग नहीं कर रहे सोशल डिस्टेंसिंग का पालन26

👤27-03-2020-
🕔tanveer ahmad

27-03-2020-

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कोरोना के लिए विधायक निधि के बदले गए नियम, जरूरी सुविधाओं के लिए रुपये दे सकेंगे MLA

कोरोना के लिए विधायक निधि के बदले गए नियम, जरूरी सुविधाओं के लिए रुपये दे सकेंगे MLA728

👤27-03-2020-
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथChief Minister Yogi Adityanath() ने कोरोना(corona) से बचाव में सहयोग के लिए विधानमंडल क्षेत्र विकास निधि के नियमों को और विस्तारित करने को मंजूरी दे दी है। इस मंजूरी के साथ ही विधायक (MLA fund ) अपनी विकास निधि से कोरोना से बचाव के लिए चिकित्सीय परीक्षण, स्क्रीनिंग और अन्य जरूरी सुविधाओं के लिए धनराशि दे सकेंगे। इसके लिए निधि की नियमावली में सूची परिशिष्ट एक के बिंदू संख्या-17 में चिकित्सीय उपकरणों के खरीद संबंधी दिशा निर्देशों को और विस्तार दे दिया गया है। आपके अपने अखबार ‘हिन्दुस्तान’ ने दो 25 मार्च  को मुद्दा उठाया था कि विधायक-सांसद अपनी विकास निधि से कोरोना के बचाव के लिए धनराशि दे रहे हैं लेकिन इस निधि की नियमावली इसमें आड़े आ रही है। कोरोना महामारी से बचाव के लिए सरकार के मंत्रियों और विधायकों द्वारा निधि से धनराशि खर्च किए जाने के लिए संबंधित डीएम और सीडीओ को पत्र लिखे गए थे। हिन्दुस्तान के संवाददाता द्वारा पूछे जाने पर निधि की नियमावली में इसका प्रबंध नहीं है? तब ग्राम्य विकास मंत्री राजेंद्र प्रताप सिंह ‘मोती सिंह’ के निर्देश पर विभाग ने नियमावली को शिथिल करने का प्रस्ताव तैयार कराया। बुधवार की शाम को यह फाइल मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के पास भेज दी गई थी। जिसे मुख्यमंत्री ने गुरुवार को मंजूरी दे दी। जिसके बाद प्रमुख सचिव ग्राम्य विकास मनोज कुमार सिंह ने इससे संबंधित शासनादेश जारी कर दिया है। मास्क से लेकर वेंटिलेटर तक का इंतजाम हो सकेगा निधि से
विधायक विकास निधि के तहत चिकित्सीय सुविधाओं व उपकरणों की खरीद व स्थापना के लिए एक बार अनुदान देने की व्यवस्था दी गई है। अब निधि की धनराशि का उपयोग कोरोना से बचाव के लिए दूर से किसी भी व्यक्ति के तापमान को रिकार्ड और ट्रैक करने के लिए इंफ्रारेड थर्मामीटर्स, चिकित्सा कर्मियों के लिए पर्सनल प्रोटेक्शन उपकरण, रेलवे स्टेशनों, एयरपोर्ट और अन्य ऐसे स्थलों पर सुरक्षित दूरी से तापमान के परीक्षण के लिए थर्मल एमेजिंग स्कैनर्स या कैमरा, आईसीएमआर द्वारा स्वीकृत कोरोना परीक्षण किट, आईसीयू वेंटिलेटर तथा आइसोलेशन, क्वारेंटाइन वार्ड, चिकित्सा कर्मियों के लिए फेस मास्क, गलव्स और सैनिटाजर के साथ ही कोरोना के इलाज व बचाव के लिए अन्य चिकित्सा उपकरणों की खरीद की जा सकेगी। 
🕔tanveer ahmad

27-03-2020-
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथChief Minister Yogi Adityanath() ने कोरोना(corona) से बचाव में सहयोग के लिए विधानमंडल क्षेत्र विकास निधि के नियमों को और विस्तारित करने को मंजूरी दे दी है। इस मंजूरी...

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कोविड-19 से बचाव को हर जिलों में बनेंगे हाईटेक कंट्रोल रूम

कोविड-19 से बचाव को हर जिलों में बनेंगे हाईटेक कंट्रोल रूम496

👤27-03-2020-
कोविड-19 से बचाव के लिए प्रत्येक जिलों में 24 घंटे काम करने वाले हाईटेक कंट्रोल रूम बनाने और स्वास्थ्य संबंधी जरूरी सामान खरीदने के लिए चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग को 50 करोड़ रुपये दिए गए हैं। राहत आयुक्त संजय गोयल ने यह जानकारी दी।कोविड-19 महामारी को ध्यान में रखते हुए प्रत्येक जिलों में स्थाई कंट्रोल रूम बनाए जाने हैं। इसके लिए हर जिले को 50-50 हजार रुपये दिए गए हैं। कंट्रोल रूम 24 घंटे सातों दिन काम करेगा। इसमें वीडियो कांफ्रेंसिंग की सुविधा, त्वरित सूचना एकत्रित करने के लिए आवश्यक टेलीफोन व इंटरनेट की सुविधा होगी। किसी भी व्यक्ति को कोई आसुविधा होने पर इस कंट्रोल रूम में अपनी शिकायत दर्ज करा सकेगा। इसके साथ ही कोविड-19 के रोकथाम के लिए अति आवश्यक मेडिकल उपकरण खरीदने और जरूरी व्यवस्था करने के लिए यह पैसा दिया गया है, जिससे प्रदेश में आवाश्यक सामग्री की आपूर्ति सुचारु रूप से सुनिश्चित की जा सके।
🕔tanveer ahmad

27-03-2020-
कोविड-19 से बचाव के लिए प्रत्येक जिलों में 24 घंटे काम करने वाले हाईटेक कंट्रोल रूम बनाने और स्वास्थ्य संबंधी जरूरी सामान खरीदने के लिए चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण...

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चार दिनों में  कोरोना प्रभावित देशों से लौटे 29 हजार लोग,ज्यादातर होम क्वॉरंटाइन व कुछ को अस्पतालों में कराया गया भर्ती

चार दिनों में कोरोना प्रभावित देशों से लौटे 29 हजार लोग,ज्यादातर होम क्वॉरंटाइन व कुछ को अस्पतालों में कराया गया भर्ती 712

👤27-03-2020-
यूपी में चीन सहित कोरोना प्रभावित देशों की यात्रा कर लौटे लोगों को चिन्हित करने का काम जिला स्तर पर बनी रैपिड रिस्पांस टीमों ने तेज कर दिया है। पिछले चार दिनो में 28798 ऐसे लोग चिन्हित किए गए हैं जो कोरोना प्रभावित देशों की यात्रा कर लौटे हैं। अभी तक कुल 37748 लोगों को चिन्हित किया जा चुका है और इनमें से तमाम को होम क्वॉरंटाइन और कुछ को अस्पतालों में आइसोलेशन वार्ड में भर्ती कराया गया है।                           
यूपी में कोरोना वायरस के बढ़ रहे मरीजों के बीच संक्रामक रोग विभाग लगातार ऐसे लोगों पर नजर रखे हैं जो चीन, इटली व ईरान जैसे 12 देशों की यात्रा कर यूपी लौटे हैं। रैपिड रिस्पांस टीम की निगरानी में इन्हें 14 दिनों के लिए होम क्वॉरंटाइन में रखा गया है और कोरोना वायरस के लक्षण दिखने पर इन्हें अस्पतालों में भर्ती कराया जा रहा है। हर दिन 50 से लेकर 100 के बीच ऐसे मरीज भर्ती किए जा रहे हैं। इन संदिग्ध मरीजों की जांच करवाई जाती है और जांच नेगेटिव आने पर इन्हें छुट्टी दे दी जाती है। अभी तक यूपी में कुल 1937 लोगों की जांच कराई गई इसमें से 43 लोगों में कोरोना वायरस पाया गया और 1819 लोगों की रिपोर्ट नेगेटिव आई यानी इनमें कोरोना वायरस नहीं पाया गया। 75 की रिपोर्ट आना बाकी है। फिलहाल संक्रामक रोग विभाग कोरोना प्रभावित देशों की यात्रा कर लौटे लोगों को लगातार चिन्हित करने के काम में जुटा हुआ है।
🕔tanveer ahmad

27-03-2020-
यूपी में चीन सहित कोरोना प्रभावित देशों की यात्रा कर लौटे लोगों को चिन्हित करने का काम जिला स्तर पर बनी रैपिड रिस्पांस टीमों ने तेज कर दिया है। पिछले चार दिनो में 28798 ऐसे...

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मुख्यमंत्री हेल्पलाइन के जरिए ग्राम प्रधानों से लिया जा रहा कोरोना पीड़ितों का फीडबैंक

मुख्यमंत्री हेल्पलाइन के जरिए ग्राम प्रधानों से लिया जा रहा कोरोना पीड़ितों का फीडबैंक314

👤27-03-2020-
प्रदेश सरकार अब गांवों में देख रही है कि वहां कोरोना से पीड़ित कोई व्यक्ति है या नहीं। इसके लिए ग्राम प्रधानों की मदद ली जा रही है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर सीएम आफिस में सीएम हेल्पलाइन के जरिए ग्राम प्रधानों से फोन करके पूरी जानकारी ली जा रही है। मुख्यमंत्री के सचिव आलोक कुमार ने गुरुवार को बताया कि अब तक 16 हजार प्रधानों से संपर्क कर इस बाबत जानकारी ली गई है। बाकी से फीडबैक का काम दो तीन दिन में हो जाएगा। इसमें ग्राम प्रधान से पूछा जा रहा है कि आपके गांव में पिछले 14 दिनों से विदेश से लौटा कोई व्यक्ति है या नहीं। अगर है तो उसकी पूरी जानकारी हेल्पलाइन के जरिए चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग को भेजी जा रही है ताकि वह अपने स्तर पर उस की जांच सुनिश्चित कर सकें और उसको आइसोलेट कर दूसरों से दूर किया जा सके।हेल्पलाइन के जरिए ग्राम प्रधानों को एसएमएस भेजा जा रहा है। इसमें पूछा गया कि गांव में कितने लोग खांसी, जुखाम, सरदर्द से पीड़ित हैं। इसी के साथ ही केंद्र सरकार की गाइडलाइन्स  के आधार पर जरूरी हिदायत व सुझाव दिए जाते हैं। यही नहीं ग्राम प्रधानों से संवाद व संपर्क का दूसरा चरण जल्द शुरू होगा। इसमें पहले दी गई जानकारी पर अपडेट लिया जाएगा। इस हेल्पलाइन को जल्द डायल-112 से लिंक कर दिया जाएगा। अभी सीएम हेल्पलाइन-1076 पर बड़ी तादाद में लोग फोन कर रहे हैं। इसकी मानटरिंग के लिए दो और विशेष सचिवों को लगाया गया है। प्रदेश में 60 हजार ग्राम प्रधान हैं। कोई भी 18001805145 पर अपनी बीमारी की सूचना दे सकता है। किसी मेडिकल इमरजेंसी के लिए 108 व गर्भवती महिलाओं की मदद के  लिए 102 पर डायल किया  जा सकता  है। 
🕔 एजेंसी

27-03-2020-
प्रदेश सरकार अब गांवों में देख रही है कि वहां कोरोना से पीड़ित कोई व्यक्ति है या नहीं। इसके लिए ग्राम प्रधानों की मदद ली जा रही है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश...

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शादीशुदा जिदंगी में बराबरी के लिए अब नया सरनेम अपना रहे हैं कपल्स

शादीशुदा जिदंगी में बराबरी के लिए अब नया सरनेम अपना रहे हैं कपल्स63

👤25-03-2020-
पारंपरिक तौर पर शादी के बाद महिलाओं को अपना आखिरी नाम बदलकर पति का नाम धारण करना पड़ता है। लेकिन, आज की युवा पीढ़ी इन बातों से वास्ता नहीं रखती क्योंकि उनके अनुसार एक महिला को शादी करने के कारण अपनी पहचान से समझौता नहीं करना चाहिए। अगर महिला अपना आखिरी नाम नहीं बदलना चाहती तो ये उसकी मर्जी होनी चाहिए।आजकल युवा दंपति एक समान नाम चुन रहे हैं ताकि वे एक नए परिवार की शुरुआत कर सकें। 31 वर्षीय ताशा मेंट और उनके पति जो मेंट ने मेंट शब्द का चुनाव किया, जिसका मतलब स्पेनिश भाषा में माइंड होता है। दोनों के सरनेम अलग-अलग थे, लेकिन उन्होंने एक दूसरे के प्रति अपने सम्मान को दर्शाने के लिए एक नाम का चयन किया।अभी आम प्रचलन नहीं है नाम में बदलाव- 
नामों में इस तरह का परिवर्तन अभी आम प्रचलन में नहीं है। जर्नल ऑफ फैमिली इश्यूज में प्रकाशित एक शोध के अनुसार 2018 में सिर्फ तीन फीसदी पुरुषों ने अपने नाम में बदलाव किया। लेकिन, ये प्रचलन अब बढ़ रहा है क्योंकि पति- पत्नी अब एक- दूसरे को बराबर का दर्जा देने लगे हैं। सीएटल की केलसी डिप्पोल्ड और उनके पति नेट जॉनसन ने दोनों का आखिरी नाम मिलाकर जोहनॉल्ड नाम बनाया।न्यूली नेम्ड नामक कंपनी की संस्थापक कोली क्रिस्टेनसेन ने कहा, ज्यादातर नव दंपति अपने आखिरी की नामों को जोड़कर एक नया नाम बना रहे हैं। उनकी कंपनी ऑनलाइन लोगों को नए नाम का सुझाव देती है। उन्होंने कहा की समाज अब भी नाम में इस तरह की बदलाव को मानने के लिए तैयार नहीं है। साथ में नाम में इस तरह के बदलाव से प्रशासनिक कार्यों में भी परेशानी आती है। ज्यादातर सरकारी विभाग नामों के इस बदलाव को स्वीकार नहीं करते।कुछ दंपति ही इस नए प्रचलन को बढ़ावा दे रहे हैं। 2015 में गूगल की ओर से किए गए एक कंज्यूमर सर्वे की अनुसार अब महिलाएं शादी की बाद अपने पहले की नाम को ही बरकरार रख रही हैं, लेकिन फिर भी सिर्फ 20 फीसदी महिलाएं ही ऐसा कर रही हैं। वही, सिर्फ 10 फीसदी महिलाएं ही नए नाम का चुनाव कर रही हैं।प्रशासनिक कार्यों में हो रही परेशानी- 
31 वर्षीय एश्ले ने कहा, समाज हमेशा नाम में हो रहे ऐसे परिवर्तन को समर्थन नहीं देता। उन्होंने कहा कि जब उन्होंने अपने आखिरी नाम स्टल और अपने पति के नाम मेयर्स को साथ मिलाकर एक नया नाम बनाया तो ड्राइविंग लाइसेंस का नवीनीकरण कराते समय उन्हें काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। कुछ प्रशासनिक लोग अपने सिस्टम को नाम में होने वाले परिवर्तनों को लेकर तैयार नहीं करना चाहते। उनका कहना होता है कि कंप्यूटर सिस्टम और सरकारी आवेदनों में नाम का बदलाव नहीं किया जा सकता।इसके बाद सभी जगहों पर नाम का परिवर्तन करने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। इवेंट प्लानर सामंथा बेलिंगगर ने कहा, महिलाएं सिर्फ शादी के प्रमाणपत्र की मदद से अपने नाम में परिवर्तन कर सकती हैं, लेकिन पुरुषों को नाम बदलने के लिए अदालत में जाना पड़ता है।
 
पुरुषों को कम प्रभावकारी माना जाता है-
 नेवाडा यूनिवर्सिटी में हुए एक शोध में यह जानने की कोशिश की गई कि जिन पुरुषों की पत्नियों ने उनका आखिरी नाम नहीं लगाया था, लोग उनके बारे में क्या सोचते हैं। शोधकर्ताओं ने यूके और यूएस आधारित अंडरग्रेजुएट्स के साथ ऑनलाइन सर्वे किया। इस सर्वे में उनसे एक ऐसी परिकल्पना करने को कहा गया, जिसमें एक महिला ने शादी के बाद अपना आखिरी नाम नहीं बदला था। इसके बाद उनसे पति के व्यक्तित्व के बारे में सवालों के जवाब देने को कहा गया। नतीजों में सामने आया कि पत्नी के इस फैसले के आधार पर ऐसे पुरुषों को कम प्रभावशाली माना गया।
🕔 एजेंसी

25-03-2020-
पारंपरिक तौर पर शादी के बाद महिलाओं को अपना आखिरी नाम बदलकर पति का नाम धारण करना पड़ता है। लेकिन, आज की युवा पीढ़ी इन बातों से वास्ता नहीं रखती क्योंकि उनके अनुसार एक महिला...

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लॉकडाउन : छोटे बच्चों और पैसे की कमी से जूझ रहे लोगों को मुफ्त मिलेगा दूध

लॉकडाउन : छोटे बच्चों और पैसे की कमी से जूझ रहे लोगों को मुफ्त मिलेगा दूध680

👤25-03-2020-
लॉकडाउन की वजह से दूध न मिलने से परेशान शहरवासियों तक लखनऊ दूध डेयरी एसोसिएशन दूध पहुंचाने की मुहिम शुरू करेगी। इसके लिए संगठन ने प्रशासन से अनुमति और अपने दूधियों के लिए पास स्वीकृत करने की मांग की है। लॉकडाउन होने से दो दिन में दूध की परेशानी को देखते हुए लखनऊ दूध डेयरी एसोसिएशन के महासचिव शौकत अली ने बताया कि घर-घर दूध पहुंचाने की व्यवस्था की जा रही है। उन्होंने बताया कि ऐसा नहीं है कि लोग ही दूध न मिलने से परेशान हुए हैं बल्कि दूधियों को भी दूध न बिकने से परेशानी हुई है। क्योंकि जब दूधियों का दूध नहीं बिका तो उन्हें या तो औने-पौने दामों में बेचना पड़ा या फिर फेंकना पड़ा। 20-25 रुपये किलो बिका दूध
उन्होंने बताया कि मंगलवार को भी पारा, दुबग्गा, आलमबाग, आशियाना, विजयनगर, चारबाग, सीतापुर रोड स्थित दूध मंडियों में ही दूध विक्रेताओं को रोक दिया गया। जिससे इन्हें जितना दूध बेच पाए उतना बेचा और या तो बांट दिया या फेंक दिया। ऐसे में उनके संगठन ने जिलाधिकारी और एसडीएम से दूधियों को पास देने की मांग की है जिससे वह लोगों के घरों तक दूध पहुंचा सकें। इसमें उनके संगठन के लोग भी सहयोग करके उन लोगों तक भी दूध पहुंचाएंगे जिनके पास पैसे नहीं हैं। मंडी समिति ने भी सब्जी विक्रेताओं को बांटे तीन हजार पास
शासन की सख्ती के बाद मंडी समिति ने भी दुबग्गा सब्जी मंडी और सीतापुर रोड स्थित नवीन गल्ला मंडी  के आढ़तिया, दुकानदार, पल्लेदार और सुरक्षाकर्मियों को पास जारी किए। इसी के साथ गल्ला कारोबारियों और उनके साथ काम करने वाले लोगों को भी पास स्वीकृत किए गए हैं कि उन्हें किसी भी तरह की परेशानी न उठानी पड़े। मंडी समिति के सचिव संजय सिंह ने बताया कि दोनों मंडियों को मिलाकर लगभग तीन हजार पास स्वीकृत किए गए हैं। इसके साथ ही स्थानीय प्रशासन के साथ यह सहमति बनी है कि सब्जी लाने वाले लोगों को मंडी जाने और कालोनी-मोहल्ले में बेचने से न रोका जाए। हालांकि इस बीच यह ध्यान रखा जाए कि कहीं भी ज्यादा भीड़ न होने पाए।
🕔tanveer ahmad

25-03-2020-
लॉकडाउन की वजह से दूध न मिलने से परेशान शहरवासियों तक लखनऊ दूध डेयरी एसोसिएशन दूध पहुंचाने की मुहिम शुरू करेगी। इसके लिए संगठन ने प्रशासन से अनुमति और अपने दूधियों के...

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अपने घर के दरवाजे को लक्ष्मण रेखा समझकर घर में ही रहें - योगी आदित्यनाथ

अपने घर के दरवाजे को लक्ष्मण रेखा समझकर घर में ही रहें - योगी आदित्यनाथ46

👤25-03-2020-
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के ऐलान के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि लोग इस अपील का पालन करें और घर पर रहे। सीएम ने विश्वास दिलाया कि सरकार सभी प्रदेशवासियों को आवश्यक वस्तुओं को उपलब्ध कराने के लिए हर व्यवस्था सुनिश्चित करेगी।जनपदीय अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि वे यह देखे कि लोग अपने-अपने घरों में रहें और इस वैश्विक महामारी से लड़ने में अपना सहयोग दें। सीएम ने कहा कि लोग दूध , अनाज सब्जी के लिये बाहर न निकलें,हम लोग खुद उपलब्ध कराने के लिये इसकी व्यवस्था कर रहे है। हम लोगो ने इसके लिये पूरी तैयारी कर ली है। किसी चीज की कोई कमी नहीं है। सरकार 23 करोड़ जनता की सेहत, सुविधा व सुरक्षा का ख्याल रखेगी।सीएम ने सबसे आग्रह करते हुए कहा कि अपने और अपने परिवार की सुरक्षा के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की 21 दिन की लॉकडाउन की अपील का अक्षरशः पालन करें। हम शपथ लें कि अपने घर के दरवाजे को लक्ष्मण रेखा समझकर घर मे ही रहेंगे,बाहर एकदम नहीं निकलेंगे। हम सब मिल कर ही मानव सभ्यता के लिए इस बड़े खतरे से निपट सकते है।आज से घर-घर जरूरी सामान पहुंचाएगी सरकार
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रदेश के लोगों को घबराने की जरूरत नहीं  है। सरकार लोगों के घर-घर में जरूरी सामान पहुंचाएगी। इसके लिए पूरी तैयारी कर ली गई है। लोगों को किसी तरह की कोई परेशानी नहीं होगी।
🕔tanveer ahmad

25-03-2020-
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के ऐलान के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि लोग इस अपील का पालन करें और घर पर रहे। सीएम ने विश्वास दिलाया...

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  • विश्व प्रसिद्ध देवा मेला एवं प्रदर्शनी का हुआ भव्य उदघाटन

    18-10-2024-


    डीएम की धर्मपत्नी ने फीता काटकर किया उदघाटन। 

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  • रितिक रोशन और दीपिका पादुकोण की फाइटर होगी बॉलिवुड की सबसे महंगी फिल्म?

    20-01-2021-रितिक रोशन के बर्थडे (10 जनवरी) पर उनकी अपकमिंग फिल्म च्फाइटरज् का 30 सेकंड का टीजर रिलीज किया गया। इस फिल्म को लेकर...

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  • नोरा फतेही ने शेयर किया ग्लैमरस फोटोशूट का वीडियो, हुआ वायरल

    03-01-2021-नई दिल्लीl फिल्म एक्ट्रेस नोरा फतेही ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर किया हैl यह उनके हालिया फोटोशूट का वीडियो...

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